नवीनतमप्रदर्शितप्रमुख समाचारराजनीतिराष्ट्रीयसमाचार

दिल्ली में कांग्रेस की ‘वोट चोर, गद्दी छोड़ो’ रैली: चुनावी प्रक्रिया पर सवाल, सियासी संग्राम तेज

दिल्ली में कांग्रेस की ‘वोट चोर, गद्दी छोड़ो’ रैली: चुनावी प्रक्रिया पर सवाल, सियासी संग्राम तेज

दिल्ली के रामलीला मैदान में कांग्रेस की ‘वोट चोर, गद्दी छोड़ो’ रैली में राहुल गांधी सहित वरिष्ठ नेताओं ने भाजपा सरकार और चुनाव आयोग पर गंभीर आरोप लगाए। जानिए रैली के प्रमुख मुद्दे, विपक्ष-सरकार की प्रतिक्रिया और राजनीतिक मायने।

नई दिल्ली—राजधानी के ऐतिहासिक रामलीला मैदान में आज कांग्रेस ने ‘वोट चोर, गद्दी छोड़ो’ रैली का आयोजन कर केंद्र की भाजपा सरकार और चुनाव आयोग पर तीखा हमला बोला। रैली में पार्टी के शीर्ष नेतृत्व ने मतदान प्रक्रिया की निष्पक्षता, चुनावी प्रबंधन और लोकतांत्रिक संस्थाओं की स्वायत्तता को लेकर सवाल उठाए। बड़ी संख्या में जुटे कार्यकर्ताओं और समर्थकों के बीच यह रैली आने वाले चुनावी दौर से पहले कांग्रेस की राजनीतिक रणनीति का अहम संकेत मानी जा रही है।

https://www.jagran.com/politics/national-who-is-sreelekha-frontrunner-in-the-thiruvananthapuram-mayoral-race-a-former-dgp-turned-bjp-councillor-40072084.html

राहुल गांधी ने रैली को संबोधित किया

रैली को संबोधित करते हुए राहुल गांधी ने कहा कि लोकतंत्र की मजबूती स्वतंत्र और पारदर्शी चुनावों पर निर्भर करती है। उन्होंने आरोप लगाया कि मतदाता सूचियों, प्रशासनिक फैसलों और चुनावी संसाधनों के दुरुपयोग से जनता के जनादेश को प्रभावित किया जा रहा है। कांग्रेस नेतृत्व का कहना है कि विपक्ष की आवाज़ को दबाने और चुनावी प्रक्रिया को पक्षपाती बनाने की कोशिशें लोकतांत्रिक मूल्यों के विरुद्ध हैं।

कांग्रेस के अन्य वरिष्ठ नेताओं ने भी मंच से सरकार पर निशाना साधा। वक्ताओं ने दावा किया कि चुनाव आयोग को निष्पक्ष भूमिका निभानी चाहिए और किसी भी राजनीतिक दबाव से मुक्त रहना चाहिए। नेताओं ने पारदर्शिता बढ़ाने, शिकायतों के समयबद्ध निपटारे और चुनावी नियमों के समान अनुपालन की मांग दोहराई। रैली में पोस्टर, नारे और भाषणों के जरिए “मतदाता का अधिकार सर्वोपरि” का संदेश प्रमुखता से रखा गया।

रैली के दौरान कांग्रेस ने संगठनात्मक मजबूती का भी प्रदर्शन किया। अलग-अलग राज्यों से आए कार्यकर्ताओं की मौजूदगी ने यह संकेत दिया कि पार्टी जमीनी स्तर पर सक्रियता बढ़ाने की कोशिश में है। राजनीतिक विश्लेषकों के अनुसार, यह रैली न केवल सरकार के खिलाफ दबाव बनाने का प्रयास है, बल्कि कांग्रेस के लिए अपने कोर वोटर्स को एकजुट करने और नए समर्थकों तक पहुंच बनाने का मंच भी है।

दिल्ली में कांग्रेस की ‘वोट चोर, गद्दी छोड़ो’ रैली: भाजपा ने कांग्रेस के आरोपों को खारिज किया

भाजपा ने कांग्रेस के आरोपों को सिरे से खारिज किया। पार्टी नेताओं ने कहा कि चुनाव आयोग एक संवैधानिक संस्था है और उस पर सवाल उठाना लोकतंत्र को कमजोर करने का प्रयास है। भाजपा का दावा है कि कांग्रेस हार की आशंका से निराधार आरोप लगा रही है। साथ ही, सरकार ने यह भी कहा कि चुनावी प्रक्रियाएं कानून और नियमों के तहत पारदर्शी ढंग से संचालित होती हैं।

इस सियासी टकराव का असर आने वाले दिनों में और तेज होने की संभावना है। विपक्ष जहां चुनावी सुधारों और संस्थागत स्वतंत्रता को मुद्दा बनाकर जनसमर्थन जुटाने की कोशिश करेगा, वहीं सत्तारूढ़ दल प्रशासनिक उपलब्धियों और विकास के एजेंडे को आगे रखेगा। दिल्ली की यह रैली संकेत देती है कि चुनावी मौसम में राजनीतिक बयानबाज़ी और जनसभाओं का दौर और तेज होगा।

https://vartaprabhat.com/winter-session-parliament-vande-matram-security-debate/

कुल मिलाकर, ‘वोट चोर, गद्दी छोड़ो’ रैली ने राष्ट्रीय राजनीति में चुनावी निष्पक्षता की बहस को फिर से केंद्र में ला दिया है। आने वाले दिनों में यह देखना महत्वपूर्ण होगा कि आरोप-प्रत्यारोप के इस दौर में चुनाव आयोग और राजनीतिक दल जनता के विश्वास को कैसे साधते हैं, और यह बहस चुनावी विमर्श को किस दिशा में ले जाती है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *